31 MAY 2021 SUBAH KA AKHBAR

                       31 MAY 2021

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WazirX मीम करेंसी शिबा इनु खरीदने वालों के नुकसान की करेगा भरपाई, जानें कैसे हुआ था यूजर्स को घाटा

क्रिप्‍टोकरेंसी शिबा इनु (Shiba Inu) का प्राइस वजीर-एक्‍स (WazirX) एक्सचेंज में गड़बड़ी के कारण ज्‍यादा वैल्यू पर सूचीबद्ध (List) हुआ था. इससे यूजर्स को नुकसान उठाना पड़ा था. क्रिप्‍टोकरेंसी एक्‍सचेंज (Cryptocurrency Exchange) यूजर्स को हुए इस नुकसान की भरपाई करेगा.

नई दिल्‍ली. क्रिप्‍टोकरेंसी एक्सचेंज वजीर-एक्‍स (WazirX) ने उन यूजर्स के नुकसान की भरपाई करने का वादा किया है, जिन्हें मीम करेंसी शिबा इनु (SHIB) को खरीदने में नुकसान उठाना पड़ा था. शिबा इनु एक्सचेंज पर 13 मई 2021 को अपनी वास्तविक वैल्यू (Actual Value) से ज्‍यादा कीमत पर सूचीबद्ध (List) हुई थी. इससे यूजर्स को नुकसान उठाना पड़ा था. इसी दिन इथेरियम (Ethereum) ब्लॉकचेन के फाउंडर वितालिक ब्युटरिन ने भारत के कोविड-क्रिप्‍टो रिलीफ फंड (Covid-Crypto Relief Fund) में 50 लाख करोड़ से अधिक शिबा और 500 ईथर क्‍वाइन दिए थे.

खामी के कारण डिपॉजिट और विद्ड्रॉल लाइव होने में लगा समय

शिबा का प्राइस इसकी लिस्टिंग के एक घंटे के अंदर ही 1 रुपये से नीचे आ गया था. ऐसी रिपोर्ट है कि लिस्टिंग के समय शिबा का प्राइस 0.00002 डॉलर था, जो लगभग 0.0016 रुपये होता है. हालांकि, वजीर-एक्‍स ने प्राइस को 3 रुपये पर लिस्ट किया था. बहुत से यूजर्स ने प्राइस में इस अंतर की वजह से नुकसान की शिकायत की थी. वजीर-एक्‍स ने बताया कि शिब के लाइव होने पर गड़बड़ी के कारण इसके डिपॉजिट और विद्ड्रॉल को लाइव होने में ज्‍यादा समय लगा था. इसके साथ ही SHIB के मार्केट में लिक्विडिटी की भी कमी हो गई थी. अधिक लोगों के ट्रेडिंग करने और लिक्विडिटी की कमी के कारण SHIB के प्राइसेज में तेजी आई.

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वजीर-एक्‍स ने बताया है कि हमारी टीम ने जल्द ही गड़बड़ी को ठीक कर दिया था. हमारे कस्टमर्स से आ रहे नए डिपॉजिट के अनुसार SHIB का प्राइस ऑटो एडजस्ट किया गया था. वजीर-एक्‍स के फाउंडर और सीईओ निश्चल शेट्टी ने ट्वीट के जरिये बताया कि अधिक प्राइस पर शिब खरीदने और इसे नहीं बेचने वाले लोगों के नुकसान की भरपाई एयरड्रॉप डब्‍ल्‍यूआरएक्‍स के जरिए की जाएगी. नुकसान उठाने वाले यूजर्स को अगले चार महीनों के दौरान वजीर-एक्‍स यूटिलिटी टोकन मिलेंगे. ये टोकन यूजर्स को हुए नुकसान के बराबर होंगे.

गिरावट के बावजूद एलन मस्क ने बिटक्वाइन को लेकर कही ये बड़ी बात, जानिए क्या होगा असर


मुंबई . दुनिया की सबसे चर्चित क्रिप्टोकरेंसी बिटक्वाइन में इस समय भारी गिरावट चल रही है. 19 मई को बिटक्वाइन की कीमत मात्र 24 घंटे में 30 फीसदी से ज्यादा गिरी. दुनियाभर से आ रही निगेटिव खबरों के बीच इस क्रिप्टोकरेंसी में भारी बिकवाली चल रही है.

मुंबई . दुनिया की सबसे चर्चित क्रिप्टोकरेंसी बिटक्वाइन में इस समय भारी गिरावट चल रही है. 19 मई को बिटक्वाइन की कीमत मात्र 24 घंटे में 30 फीसदी से ज्यादा गिरी. दुनियाभर से आ रही निगेटिव खबरों के बीच इस क्रिप्टोकरेंसी में भारी बिकवाली चल रही है. 60 हजार डॉलर तक पहुंची बिटक्वाइन अब 40 हजार डॉलर के नीचे आ गई है.

इसी बीच टेस्ला के सीईओ और बिटक्वाइन के बड़े शेयरों होल्डरों में से एक एलन मस्क ने इसे लेकर फिर एक बार ट्वीट किया है. Musk ने 19 मई की रात ट्वीट किया कि टेस्ला के पास बिटक्वाइन के रूप में डायमंड हैंड हैं. उन्होंने डायमंड के साइन और हाथ की इमोजी के साथ ट्वीट किया. इसका मतलब मस्क बिटक्वाइन में अपनी हिस्सेदारी अभी नहीं बेचेंगे. मस्क के पास बिटक्वाइन में 150 अरब डॉलर की हिस्सेदारी है.

बिटक्वाइन पर मस्क का रूख बदलता रहता है

हालांकि बिटक्वाइन को लेकर एलन मस्क का रूख समय समय पर बदलता रहता है. 12 मई को मस्क ने कहा था कि पर्यावरण कारणों की वजह से अब टेस्ला के कारों की खरीद में बिटक्वाइन की ली जाएगी. कुछ दिन पहले मस्क ने बिटक्वाइन में अपनी पूरी हिस्सेदारी बेचने की बात कही थी लेकिन फिर अपनी बात से पलट गए. मस्क ने इस बयान के बाद कि टेस्ला बिटक्वाइन में पेमेंट एक्सेप्ट नहीं करेगी ये करेंसी लगातार गिर रही है.यह भी पढ़ें- LIC की बेटियों के लिए खास पॉलिसी! रोज करें 150 रुपये निवेश तो शादी पर मिलेंगे ₹22 लाख, जानें सबकुछ

विशेषज्ञों ने कहा- घबराने की जरुरत नहीं

हालांकि विशेषज्ञों का कहना है कि इस गिरावट से घबराने की जरूरत नहीं है. वज़ीरएक्स के सह-संस्थापक और सीओओ सिद्धार्थ मेनन कहते हैं पिछले कुछ समय से बिटकॉइन में गिरावट अपेक्षित थी क्योंकि कुछ भी सिर्फ एक ही दिशा में नहीं जाता है। हमने एक ही दिन में कीमतों में 50 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि देखी है, इसलिए घबराने की कोई जरूरत नहीं है."

यह एक हेल्दी करेक्शन है

"यह एक हेल्दी करेक्शन है क्योंकि $ 28,000 एक बहुत अच्छा सपोर्ट लेवल है. पहले $ 38,000 का support level था. कीमत अभी भी सीमा के भीतर है. खतरे तब होगा जब यह $ 19,000 के जोन को पार करता है जो कि अभी असंभव दिख रहा है. अभी हम बुल रन में हैं और मेरा मानना है कि ये 24 हजार से नीचे नहीं जाएगी.

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Elon Musk के Tweet से बदला भाव! पहले Bitcoin को आसमान पर पहुंचाया, अब एक ट्वीट से डिजिटल करेंसी भारी नुकसान में

Elon Musk के ट्वीट का ही जादू है कि कल तक उनके ट्वीट के दुनिया की सबसे सबसे डिजिटल करेंसी का भाव आसमान पर पहुंच गया था आज एक बार फिर ट्वीट के बाद उसका भाव गिर गया है.

नई दिल्ली. Elon Musk के ट्वीट का ही जादू है कि कल तक उनके ट्वीट के दुनिया की सबसे सबसे डिजिटल करेंसी का भाव आसमान पर पहुंच गया था आज एक बार फिर ट्वीट के बाद उसका भाव गिर गया है. दरअसल, टेस्ला इंक (Tesla Inc) ने जलवायु संबंधी चिंताओं के कारण अपने वाहनों को खरीदने के लिए बिटकॉइन (Bitcoin) के उपयोग को निलंबित कर दिया है. Tesla के CEO एलन मस्क ने बुधवार को एक ट्वीट में कहा कि कुछ पर्यावरणविदों और निवेशकों के चलते यह फैसला लेना पड़ा है. इसके बाद से ही बिटक्वाइन में गिरावट देखी गई है.

17% से अधिक गिरा भाव

बिटकॉइन, दुनिया की सबसे बड़ी डिजिटल करेंसी है. एलन मस्क के इस ट्वीट के बाद यह 17% से अधिक गिर कर $ 52,669 पर पहुंच गया. बता दें कि टेस्ला इंक ने फरवरी में खुलासा किया था कि उसने 1.5 बिलियन डॉलर का बिटकॉइन खरीदा था और जल्द ही इसे कारों के लिए भुगतान के रूप में स्वीकार करेगा. मस्क ने कहा था कि ग्राहक बिटकॉइन के साथ अपने इलेक्ट्रिक वाहन खरीद सकते हैं.

ये भी पढ़ें- डबल फायदा! किसानों को हर महीने मिलेंगे 3000 रुपये, साथ में PM Kisan की किस्त भी, जानिए कैसे?इसकी कीमत में भारी उछाल देखा गया था.

मस्क ने बुधवार को कहा कि टेस्ला किसी भी बिटकॉइन को नहीं बेचेगी और अधिक स्थायी ऊर्जा के लिए खनन संक्रमण के रूप में लेनदेन के लिए बिटकॉइन का उपयोग करने का इरादा रखती है. मस्क ने कहा कि हम अन्य क्रिप्टोकरेंसी को भी देख रहे हैं.

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इन क्रिप्टोकरेंसीज का है जादू

इन दिनों मार्केट में मार्केट में तमाम क्रिप्टोकरेंसीज ने कब्जा जमा लिया है. निवेशकों की दिलचस्‍पी इनमें बढ़ती जा रही है. बिटक्‍वाइन (Bitcoin) से लेकर डॉगक्‍वाइन (Dogecoin), शिबा (SHIBA) समेत तमाम क्रिप्‍टोकरेंसीस की वैल्‍यू में लगातार इजाफा दर्ज किया जा रहा है. बिटकॉइन में इस वर्ष करीब 95 फीसदी की तेजी आई है.

33 साल का यह शख्स Dogecoin में पैसा लगाकर 4 महीने में ही बन गया करोड़पति! जानें सक्सेस ट्रिक

इस समय निवेशकों को क्रिप्टो बाजार काफी भा रहा है. डिजिटल करेंसी (Digital Currency) के मार्केट में लगातार निवेशकों की दिलचस्पी बढ़ी है.

नई दिल्ली. इस समय निवेशकों को क्रिप्टो करेंसी बाजार काफी भा रहा है. डिजिटल करेंसी (Digital Currency) के मार्केट में लगातार निवेशकों की दिलचस्पी बढ़ी है. इन दिनों निवेश के लिए निवेशकों का रुझान क्रिप्टो करेंसी (Cryptocurrency) की तरफ काफी बढ़ा है. ऐसे ही 33 साल का एक शख्स क्रिप्टो करेंसी डॉगकॉइन (Dogecoin) में पूंजी लगाकर करोड़पति बन गया. बता दें कि फिलहाल बाजार में कई क्रिप्टोकरेंसी मौजूद हैं, लेकिन कुछ ही क्रिप्टोकरेंसी ऐसी हैं जो ज्यादा सुर्खियां बटोरती हैं. इनमें से डॉगकॉइन भी है और यह पिछले कुछ समय से काफी चर्चा में है. टेस्ला के मालिक एलन मस्क (Elon Musk) के एक ट्वीट के बाद इसमें भारी उछाल देखा गया.

'दोस्तो ने उड़ाया था मजाक'

फरवरी में जब लॉस एंजिल्स के रहने वाले Glauber Contessoto ने अपनी जीवन भर की बचत को Dogecoin में निवेश करने का निर्णय लिया, तो उसके दोस्तों को चिंता हुई. Glauber बताते हैं कि मेरे सारे दास्तों ने मुझे मना किया था कि क्रिप्टो में पैसे न लगाएं, डूबने का डर है. उन्होंने मुझे पागल तक कह दिया था. मैंने भी मजाक-मजाक में फरवरी में डिटिजल करेंसी में निवेश कर दिया और फिर उसे भूल गया. वे कहते हैं, हालांकि, लोगों के लिए Dogecoin एक मीम्स की तरह था जिसका सब मजाक उड़ाते थे लेकिन इस मीम्स से मुझे अच्छी कमाई हुई.

ये भी पढ़ें- LIC की इस पॉलिसी में लगाएं पैसा, नहीं होगी मंथली खर्चे की टेंशन! हर महीने मिलेगा 9 हजार रुपयेमार्केट गिरता है तब खूब पैसा लगाता हूं

Glauber कहते हैं, मैं जोखिम लेने से नहीं डरता हूं. मैंने हमेशा मार्केट में गिरावट को बेहतर मौके की तरह देखा है. गिरावट के समय मैं हमेशा ज्यादा से ज्यादा पूंजी निवेश करता हूं. मेरा मानना है जब मार्केट क्रैश रहता है उस समय सस्ते में निवेश करके आप निश्चिंत होकर बैठ जाइए, वो एक समय जरूर ऊपर जाएगा और आपको फायदा पहुंचाएगा. वे कहते हैं, मैंने फरवरी में Dogecoin की क्षमता के बारे में एक रेडिट थ्रेड पढ़ा था जिसके बाद इसमें निवेश का फैसला लिया और अपने क्रेडिट कार्ड से निवेश शुरू कर दिया. वे कहते हैं, कुछ मेरी जमा पूंजी और कुछ मार्केट से उधार लेकर मैंने लगभग 250,000 डॉलर का निवेश किया. उसके कुछ दिन बाद ही एलन मस्क ने Dogecoin को लेकर ट्वीट किया जिसके बाद उसकी मार्केट वैल्यू में गजब का इजाफा देखा गया था.

बिटकॉइन को झटका लेकिन Dogecoin को फायदा

टेस्ला (Tesla) के मालिक एलन मस्क ने दुनिया की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन (Bitcoin)में टेस्ला की खरीदारी पर यू टर्न ले लिया. मस्क की कंपनी स्पेसएक्स (SpaceX) के Dogecoin में पेमेंट लेने की घोषणा करने और टेस्ला के बिटकॉइन के जरिए खरीदारी बंद करने की घोषणा के बाद Dogecoin के प्राइस में उतार-चढ़ाव हो रहा है. मस्क के पिछले सप्ताह एक कार्यक्रम में आने के बाद Dogecoin के प्राइस में तेजी आई थी लेकिन इसके बाद मस्क ने एक ट्वीट कर मीम के साथ शुरू हुई इस क्रिप्टोकरेंसी को एक "जल्दबाजी" बताया जिससे प्राइस में भारी गिरावट आई. हालांकि, अब Dogecoin की कीमत में भारी उछाल देखा गया है.

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इस ट्वीट के बाद Dogecoin की कीमत बढ़ी

मस्क की ओर से शुक्रवार को किए गए एक ट्वीट के बाद Dogecoin के प्राइस में फिर से तेजी आनी शुरू हो गई है. इस ट्वीट में उन्होंने कहा, 'Dogecoin के डेवलपर्स के साथ काम कर सिस्टम ट्रांजैक्शन की क्षमता में सुधार किया जा रहा है. इसमें संभावना दिख रही है.' ट्रेडिंग व्यू के अनुसार, मस्क के ट्वीट्स के बाद, Dogecoin के प्राइस में 18 पर्सेंट तक तेजी आई थी और इसका मार्केट कैप 10 अरब डॉलर बढ़ गया.

जल्द आएगा UnfoldU का आईसीओ, जानिए कैसे कमा सकते हैं आप लाभ

नई दिल्ली. भारत की जानी-मानी ऑनलाइन एजुकेशन कंपनी UnfoldU Group जल्द अपना इनीशियल क्वाइन ऑफरिंग यानी आईसीओ (Initial Coin Offering) लाएगी. यह आईपीओ (IPO) का ही है एक स्वरूप है जो शेयर बाजार की जगह क्रिप्टो बाजार में खोला जाता है.

आईसीओ में लोग शेयर की जगह कंपनी के यूटिलिटी टोकन में निवेश करते हैं. इसका सबसे बड़ा फ़ायदा यह होता है कि दुनिया का कोई भी निवेशक कहीं से भी बैठे आईसीओ में निवेश कर सकता है, जिससे टोकन का ट्रेडिंग वॉल्यूम काफी हद तक बढ़ जाता है और कंपनी को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान बनाने का अवसर प्राप्त होता है. यूटिलिटी टोकन के जरिए कंपनी के ग्राहक उसकी सेवाएं भी खरीद सकते हैं. यानी कि जैसे-जैसे कंपनी का कारोबारी विकास होता चला जाता है उसके यूटिलिटी टोकन की कीमत भी बढ़ती रहती है.

भारतीय मूल के अभिषेक बजाज हैं कंपनी के सीईओ

कंपनी के सीईओ और को-फाउंडर अभिषेक बजाज भारतीय मूल के कनेडियन हैं. उनके पिता और दादा दोनो ही एजुकेशन की दुनिया से जुड़े रहे हैं और उनके दादा एजुकेशन क्षेत्र में योगदान के लिए राष्ट्रपति से भी सम्मानित भी किए जा चुके हैं.आईसीओ में पैसा लगाने वाले निवेशक आम निवेशक से ज्यादा कमा पाते हैं क्योंकि कंपनी शुरुआती निवेशकों को लुभाने के लिए भारी बोनस देती है. माना जा रहा है UnfoldU भी UNFLD टोकन पर भारी बोनस देगी पर यह बोनस सिर्फ कुछ समय के लिए और कुछ ही निवेशकों को ही मिलेगा.

बाद में निवेश करने वाले निवेशक इसका लाभ नहीं उठा पाएंगे. आईसीओ में निवेश करने वाले शुरूवती निवेशकों को UnfoldU 40-75% तक का बोनस दे सकती है. हालांकि इस पर कंपनी ने कोई भी आधिकारिक जानकारी नहीं दी है.

BYJU जैसी कंपनियों से है UnfoldU का मुकाबला

UnfoldU का आईसीओ ओवर सब्स्क्राइब होने की स्थिति में कंपनी लॉटरी के जरिए निवेशकों का चयन करती है. जो निवेशक चुने जाते हैं उनको टोकन और बोनस दे दिए जाते हैं और बाकी निवेशकों को उनका निवेश वापस कर दिया जाता है. UNFLD टोकन की ओवर सब्स्क्राइब की संभावना ज्यादा बनी हुई है क्योंकि UnfoldU कोई स्टार्टअप नहीं है बल्कि स्कूल ऑनलाइन एजुकेशन की जानी मानी कंपनी है जिसका मुकाबला BYJU जैसे नामों से है.

UnfoldU Group के UNFLD टोकन, WazirX, Gate.IO और LuaSwap जैसे crypto exchanges पर लिस्ट होंगे जहां निवेशक इनको ख़रीद और बेच पाएंगे. WazirX भारत का नंबर एक क्रिप्टो एक्सचेंज है. UnfoldU अपने आईसीओ के जरिए ओपेन मार्केट से 700 करोड़ तक जुटाएगी. शुरूवती टोकन की बिक्री से कंपनी 45 करोड़ तक जुटाएगी. यानी कि सिर्फ 45 करोड़ के टोकन पर ही बोनस मिलने की संभावना है जिससे आप समझ सकते हैं कि निवेशकों को टोकन और बोनस लेने के लिए खासी मशक्कत करनी पड़ेगी.

याद रखिए ICO भले ही कमाने का एक ज़बरदस्त मौका देता है पर निवेशक को समझना चाहिए कि क्रिप्टो तेजी से उतरने-चढ़ने वाला बाजार है इसलिए सिर्फ उतना ही निवेश करें जिसके खो जाने पर जिंदगी और रहन सहन पर असर ना पड़े.

Cryptocurrency की दुनिया में धमाकेदार एंट्री! लॉन्च होते ही इस Coin ने दिया 1000% से ज्यादा रिटर्न, जानें क्या है खास?


क्रिप्टोकरेंसी के लिए UAE सबसे सुरक्षित माना जाता है. यहां तक कि भारत के एक Covid-19 रिलीफ फंड -इंडिया कोविड रिलीफ फंड ने हाल ही में दुबई में एक कंपनी बनाई है जिसका मकसद डोनेशन के तौर पर मिले क्रिप्टोकरेंसी को एक्सचेंज करना है.

नई दिल्ली. क्रिप्टोकरेंसीज (Cryptocurrency) की दुनिया में एक और धमाकेदार एंट्री हुई है. दुबई ने अपना पहला क्रिप्टोकरेंसी दुबई क्वाइन ( DubaiCoin यानी DBIX) लॉन्च कर दिया है. यह करेंसी पब्लिक ब्लॉकचेन पर बेस्ड कुछ चुनिंदा एक्सचेंजों पर ट्रेड कर रही है. इसकी मूल कीमत 0.17 डॉलर थी लेकिन Crypto.com के मुताबिक 24 घंटे में इसकी कीमत बढ़कर 1.13 डॉलर पहुंच गई. यानी लोग खुद अपनी DBIX जेनरेट कर सकते हैं.

अरेबियनचेन टेक्नोलॉजी ने किया है लॉन्च

Crypto.com के मुताबिक, पिछले 24 घंटों के दौरान DubaiCoin की कीतम 1000 फीसदी से ज्यादा बढ़ चुकी है. 27 मई शाम 4 बजे DubaiCoin 1.13 डॉलर पर ट्रेड कर रहा था जो अपने ओरिजनल कीमत 0.17 फीसदी से बहुत ऊपर है. यह क्वाइन UAE की कंपनी अरेबियनचेन टेक्नोलॉजी ने लॉन्च किया है. अरब देशों का यह पहला क्वाइन है जो पब्लिक ब्लॉकचेन पर आधारित है.

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कंपनी की तरफ से जारी प्रेस रिलीज के मुताबिक, "DubaiCoin का इस्तेमाल बहुत जल्द ऑनलाइन और ऑफलाइन गुड्स और सर्विस के पेमेंट में किया जा सकेगा. इससे इस बात का साफ संकेत मिलता है कि कंपनी इस क्वाइन का इस्तेमाल ट्रेडिशनल बैंक बैक्ड करेंसी की जगह करना चाहती है. नई डिजिटल करेंसी के सर्कुलेशन पर शहर और ऑथराइज्ड ब्रोकर्स का कंट्रोल होगा."

क्रिप्टोकरेंसी के लिए UAE सबसे सुरक्षित

क्रिप्टोकरेंसी के लिए UAE सबसे सुरक्षित माना जाता है. यहां तक कि भारत के एक Covid-19 रिलीफ फंड -इंडिया कोविड रिलीफ फंड ने हाल ही में दुबई में एक कंपनी बनाई है जिसका मकसद डोनेशन के तौर पर मिले क्रिप्टोकरेंसी को एक्सचेंज करना है. हालांकि DubaiCoin दूसरी क्रिप्टोकरेंसी से थोड़ी अलग होगी.

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DubaiCoin पब्लिक ब्लॉक चेन पर आधारित

DubaiCoin पब्लिक ब्लॉक चेन पर आधारित है लिहाजा यह साफ नहीं है कि अरब चेन इसकी कीमतों को रेगुलेट करेगा या नहीं. यह क्वाइन दिरहम के साथ सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी (CBDC) के तौर पर अपनी पहचान बना सकता है.दुबई में होने की वजह से यह क्रिप्टोकरेंसी टिकाऊ रह सकता है क्योंकि दिरहम भी डॉलर के मुकाबले स्टेबल रहता है.

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भारत समेत दुनियाभर में इस समय क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) का बोलबाला है. क्रिप्टो मार्केट तेजी से आगे बढ़ रहा है. इसकी बड़ी वजह कम समय में मोटा मुनाफा है.

नई दिल्ली. भारत समेत दुनियाभर में इस समय क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) का बोलबाला है. क्रिप्टो मार्केट तेजी से आगे बढ़ रहा है. क्रिप्टोकरेंसी निवेशकों को कम समय मोटा मुनाफा दे रही है और कई निवेशकों को अरबपति तक बना दिया है. यही वजह है कि इस समय ज्यादातर निवेशकों में क्रप्टोकरेंसी में निवेश को लेकर रूझान तेजी से बढ़ रहा है. क्रिप्टोकरेंसी के इस बढ़ते क्रेज के बीच अब भारतीय निवेशकों के लिए निवेश का नया तरीका इजाद किया गया है. इसे देश के क्रिप्टो एसेट एक्सचेंजों (Crypto Exchange) में से एक ज़ेबपे (ZebPay) ने इजाद किया है. ZebPay भारत की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी प्लेटफाॅर्म में से एक है. अब यहां क्रिप्टोकरेंसी को भी एफडी (FD) की तरह इनवेस्ट किया जा सकेगा. तो आइए जानते हैं इसके बारे में सबकुछ...

लॉन्च किया गया ज़ेबपे लेंडिंग प्लेटफॉर्म

क्रिप्टो एसेट एक्सचेंज ने ZebPay ने गुरुवार को ज़ेबपे लेंडिंग प्लेटफॉर्म लॉन्च करने की घोषणा की, जो भारत में अपनी तरह का पहला क्रिप्टो लेंडिंग मॉडल (crypto lending model in India) है. एक्सचेंज ने अपने बयान में कहा है कि कंपनी की इस नई योजना के जरिए यूजर्स अपने सिक्कों को ज़ेबपे के पास उधार रख सकेंगे, बदले में उन्हें शानदार रिटर्न दिया जाएगा. यह उधार एक समयसीमा की अवधि तक के लिए दिया जाएगा. यानी अब कोई भी इनवेस्टर बिटक्वाइन (Bitcoin)समेत अन्य क्रिप्टोकरेंसी में एफडी की तरह निवेश कर उस पर मुनाफा कमा सकता है. कंपनी की तरफ से कहा गया है कि बिटक्वाइन(BTC), इथेरियम (ETH), तेथर (USDT), डाई (DAI), जैसी क्रिप्टोकरेंसी को इनवेस्ट किया जा सकेगा.

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ZebPay ने कहा कि फिक्स्ड-टर्म निवेशकों को 7-दिन, 30-दिन, 60-दिन और 90-दिन की अवधि के लिए अपनी क्रिप्टो उधार देने की अनुमति देगा. प्रत्येक के लिए रिटर्न की दर अलग-अलग होगी.साथ ही यह भी कहा गया है कि अचानक तय समय से पहले बाहर नहीं निकल सकता है. बता दें कि जमा की अवधि के आधार पर ग्राहकों को अपने बिटकॉइन पर 3% तक, एथेरियम और डाई पर 7% तक और तेथर पर 12% तक रिटर्न मिलेगा. यानी कि कि कोई भी व्यक्ति शानदार रिटर्न पाने के लिए 7 दिन, 30 दिन, 60 दिन और 90 दिन का एफडी करवा सकेगा.

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कम समय में मिलेगा मोटा मुनाफा

ZebPay के को-सीईओ अविनाश शेखर (Avinash Shekhar) ने कहा, 'ज़ेबपे क्रिप्टोकरेंसी इनवेस्टर्स को लंबे समय तक के लिए इनवेस्टमेंट करने को लेकर प्रोत्साहित करता है. कंपनी इस प्रक्रिया के जरिए उन्हें और मुनाफा देना चाहती है.' पिछले कुछ समय से क्रिप्टोकरेंसी को लेकर लोगों में उत्साह बढ़ा है. इसकी बड़ी वजह कम समय में मोटा मुनाफा है. निवेश के लिए सबसे पहले आपको ZebPay ऐप को डाउनलोड करना होगा. जिनके पास पहले से यह ऐप है उन्हें एक बार अपडेट करना होगा. इसके बाद यहां lending option अपने आप दिखाई देगा.

दिल्ली, मुंबई और अहमदाबाद के ये तीन युवा क्रिप्टोकरेंसी से बन गए अरबपति, पहले करते थे साधारण नौकरी..पढ़ें कैसे?

crypto billionaires: इन दिनों दुनियाभर में क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) चर्चा में है. भारत में भी क्रिप्टोकरेंसी खूब सुर्खियां बटौर रही है.

नई दिल्ली. इन दिनों दुनियाभर में क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) चर्चा में है. कभी एलन मस्क की वजह से तो कभी चीन...वजह चाहे कुछ भी हो लेकिन दुनियाभर में लोगों के जुबान पर क्रिप्टोकरेंसी का नाम है. भारत में भी क्रिप्टोकरेंसी खूब सुर्खियां बटौर रही है. आज हम आपको ऐसे तीन भारतीयों के बारे में बता रहे हैं जिन्होंने क्रिप्टो की दुनिया में बहुत कम समय में अपनी पहचान बनाई और आज अरबपति बन गए हैं. ये नाम है- जयंती कनानी, संदीप नेलवाल और अनुराग अर्जुन. आइए जानते हैं इनके बारे में...

ब्लॉकचेन प्लेटफॉर्म Polygon के को-फाउंडर्स हैं

ये तीनों ब्लॉकचेन प्लेटफॉर्म Polygon के को-फाउंडर्स हैं. पोलीगॉन को पहले Matic के नाम से जाना जाता था जिसकी स्थापना 2017 में की गई थी. यह इथेरियम ब्लॉकचेन पर आधारित है. इसकी मदद से decentralized apps तैयार किए जाते हैं. यह दुनिया के दूसरे सबसे बड़े क्रिप्टोकरेंसी इथेरियम (ethereum) पर उच्च शुल्क और धीमी लेनदेन की समस्या को हल करने के लिए बनाया गया था.

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पॉलीगन प्लेटफॉर्म की मदद से आसानी से इथेरियम स्केलिंग और इन्फ्रा डेवलपमेंट का काम किया जा सकता है. यूजर्स इसकी मदद से ऐप भी तैयार कर सकते हैं. पॉलीगॉन के मूल टोकन, Matic का मार्केट कैप 2019 में की तुलना में $26 मिलियन से बढ़कर $14 बिलियन से अधिक हो गया है. इस क्रिप्टोकरेंसी में उनकी हिस्सेदारी 4-5 फीसदी के करीब है. वर्तमान वैल्युएशन के आधार पर वे भारत के पहले क्रिप्टो बिलिनेयर हैं. बता दें कि क्रिप्टो दुनिया में डेटा को सत्यापित करना मुश्किल है और ऐसे अन्य भारतीय भी हो सकते हैं जिन्होंने महत्वपूर्ण धन अर्जित किया है जो सार्वजनिक रूप से ज्ञात नहीं हैं.

जानिए कैसे शुरू हुआ यह सफर...

लाइव मिंट की एक खबर के मुताबिक, संदीप नेलवाल ने कहा है कि उनकी कंपनी कोविड -19 राहत के लिए अब तक $1 बिलियन से अधिक क्रिप्टो फंड जुटाई है. संदीप कहते हैं, मैं मूल रूप से दिल्ली से हूं. मेरे अन्य दो को फाउंडर मुंबई और अहमदाबाद से हैं. हमारा हेड आॅफिस बेंगलुरु में है. बकौल संदीप, मैंने इंजीनियरिंग और कंप्यूटर साइंस की पढ़ाई की है. उसके बाद मैंने दो साल तक एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर के रूप में काम किया. फिर MBA किया और आईटी में स्पेशलाइजेशन हासिल की. इसके बाद मैंने Deloitte में काम किया और फिर ई-काॅमर्स कंपनी Wellspun (जहां मैं सीटीओ था) में काम किया. इसके बाद फिर मैंने फ्लिपकार्ट की तरह ही एक वेबसाइट लॉन्च की.

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ब्लॉकचेन जैसी तकनीकों के बारे में पढ़...

संदीप आगे कहते हैं कि मेरा कारोबार उतना बड़ा नहीं हुआ जितना मैं चाहता था. इसके बाद मैंने artificial intelligence और ब्लॉकचेन जैसी तकनीकों के बारे में पढ़ना शुरू कर दिया.मैं प्रोग्रामिंग में वापस गया और फिर मैं जयंती कनानी और अनुराग अर्जुन (दो अन्य को-फाउंडर्स) से मिला. कनानी एक कंप्यूटर साइंस इंजीनियर भी हैं और वह हाउसिंग.कॉम के साथ डेटा साइंटिस्ट के रूप में काम कर रहे थे. बाद में उन्होंने गेम ऑफ थ्रोन्स (Game of Thrones ) के लिए एक वायदा मार्केट (prediction market)जैसे कुछ ऐप बनाने की कोशिश की. जिसे वे ग्लोबली पेमेंट सिस्टम में चाहते थे. वहीं, सस्अर्जुन एक सीरियल एंटरप्रेन्योर भी हैं. वह आईआरआईएस (IRIS) के साथ काम कर रहे थे, जो केंद्रीय बैंकों (Central Banks) जैसे संस्थानों द्वारा इस्तेमाल किया जाने वाला एक सॉफ्टवेयर है. इससे पहले अर्जुन GST से जुड़ा स्टार्टअप लॉन्च कर चुके थे. संदीप आगे कहते हैं कि, हमारे चौथे सह-संस्थापक मिहेलो बेजेलिक, जो सर्बियाई मूल के हैं वे मैटिक के समान समाधान पर काम कर रहे थे. मैटिक से पॉलीगॉन में रीब्रांड करते ही वह पिछले साल हमारे साथ जुड़ गया. इस तरह हमारा कारोबार शुरू हुआ और आगे बढ़ते चला गया.

Cryptocurrencies: इन टॉप क्रिप्टोकरेंसी में पैसा लगाकर कुछ ही समय में बनें मालामाल, जानें एक्सपर्ट ने क्या दी सलाह?


कुछ हफ्तों में क्रिप्टोकरेंसी मार्केट (Cryptocurrency Market) में जबरदस्त उतार-चढ़ाव आए हैं. ऐसे में अगर आप भी क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करने का प्लान बना रहे हैं तो उससे पहले ये जरूर जान लें कि आपको कहां पैसा लगाना चाहिए

नई दिल्ली: भारत में इन दिनों क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrencies) काफी चर्चा में बना हुआ है लोगों का ध्यान और रुचि इस तरफ काफी बढ़ रहे हैं. हाल के कुछ हफ्तों में क्रिप्टोकरेंसी मार्केट (Cryptocurrency Market) में जबरदस्त उतार-चढ़ाव आए हैं. ऐसे में अगर आप भी क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करने का प्लान बना रहे हैं तो उससे पहले ये जरूर जान लें कि आपको कहां पैसा लगाना चाहिए और इन दिनों टॉप क्रिप्टोकरेंसी की लिस्ट में कौन-कौन शामिल है.

निवेश के लिए टॉप क्रिप्टोकरेंसी

कॉइनस्विच कुबेर (CoinSwitch Kuber) के सीईओ और सह-संस्थापक (CEO and co-founder) आशीष सिंघल के मुताबिक, वर्तमान में टॉप क्रिप्टोकरेंसी में बिटकॉइन, ट्रॉन (TRX), एथेरियम (ETH) और रिपल की एक्सआरपी (XRP) है. हालांकि, उन्होंने अभी भी किसी भी क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करने से पहले गहन शोध करने के लिए कहा है.

यह भी पढ़ें: कोरोना संकट में सरकार की गरीब कल्याण योजना ने लोगों को दी राहत, जानें कितने टन राशन का हुआ वितरणफंडामेंट्ल्स और टेक्नोलॉजी पर भी देना चाहिए ध्यान

उन्होंने आगे कहा कि निवेश से पहले क्वॉइन की टेक्नोलॉजी, उद्देश्य और फंडामेंट्ल्स को देखना सबसे जरूरी है. इसके अलावा बाजार में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर किस तरह की परियोजनाएं देखने को मिल रही हैं. इस पर भी ध्यान देना चाहिए.

Ethereum है सबसे पसंदीदा क्रिप्टोकरेंसी

इस बीच CoinDCX ने एक बयान में कहा कि Ethereum (ETH) अब सबसे पसंदीदा क्रिप्टोकरेंसी है. लोग इन दिनों एथेरियम में निवेश करने में काफी दिलचस्पी दिखा रहे हैं.

इन पर भी है निवेशकों का फोकस

उन्होंने कहा, "हालांकि, रिपल (XRP) और लिटकोइन (LTC) जैसे अन्य विकल्प भी अपने तकनीकी लाभों के आधार पर तेजी से कर्षण प्राप्त कर रहे हैं."

स्टॉप-लॉस लगाकर करें निवेश

आगे उन्होंने कहा कि निवेशकों को सावधानी बरतनी चाहिए और सभी ट्रेडों के लिए उचित स्टॉप-लॉस बनाए रखते हुए अलग-अलग स्तरों पर निवेश करना चाहिए. आखिर में उन्होंने कहा कि किसी भी तरह के निवेश से पहले फंडामेंटल और उस संपत्ति का लॉन्ग टर्म पोटेंशियल जरूर देखना चाहिए.

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CNBC-TV18 के साथ बातचीत में, Unocoin के सीईओ और सह-संस्थापक, सात्विक विश्वनाथ ने सुझाव दिया कि जो लोग मानते हैं कि बुल मार्केट जारी रहेगा, उन्हें एक्सचेंज और इसकी सेवा-आधारित क्रिप्टो को देखना चाहिए क्योंकि वे इस दौरान बेहतर कारोबार करना जारी रखेंगे.

अमेरिकी अरबपति व दुनिया के टाॅप फंड मैनेजर ने कहा- मेरे पास भी Bitcoin है, इसे होल्ड रखें..सफलता मिलेगी


अमेरिकी अरबपति और दुनिया के टाॅप फंड मैनेजर रे डालियो (Ray Dalio) ने डॉलर के मुकाबले बिटकॉइन (Bitcoin) का समर्थन किया.

नई दिल्ली. अमेरिकी अरबपति और दुनिया के टाॅप फंड मैनेजर रे डालियो (Ray Dalio) ने डॉलर के मुकाबले बिटकॉइन (Bitcoin) का समर्थन किया. दुनिया के सबसे बड़े हेज फंड ब्रिजवाटर एसोसिएट्स के सह-मुख्य निवेश अधिकारी डालियो ने एक साक्षात्कार में कॉइनडेस्क को बताया कि उनके पास भी कुछ बिटकॉइन हैं... और उन्हें लगता है रिस्क लेना आपको सफलता दिलाएगी. इसलिए उन्होंने निवेशकों से इसे होल्ड रखने की सलाह दी है.

जानें, क्या कहा रे डालियो ने?

कॉइनडेस्क की वार्षिक आम सहमति सम्मेलन के दौरान, निवेशक में वर्चुअल करेंसी बिटकाॅइन को लेकर बढ़ती चिंताओं पर बात की. इस दौरान उन्होंने कहा मेरे पास भी कुछ बिटकॉइन हैं. डालियो ने कहा, वे बांड की तुलना में क्रिप्टोकरेंसी को बेहतर निवेश विकल्प के तौर पर देख रहे हैं. अरबपति ने कहा कि मुझे लगता है कि बिटकॉइन का सबसे बड़ा जोखिम ही इसकी सफलता है.

ये भी पढ़ें- एलन मस्क के ट्वीट से Bitcoin में 12% की तेजी! जानें दूसरे क्रिप्टोकरेंसी की लेटेस्ट वैल्यूपहले किया था डिजिटल करेंसी पर संदेह

बता दें कि इससे पहले डालियो ने क्रिप्टोकरेंसी को लेकर संदेह व्यक्त किया था. डेलियो ने नवंबर 2020 में कहा था कि मुझे नहीं लगता कि डिजिटल करेंसी लोगों की उम्मीद के मुताबिक सफल होंगी. हालांकि, डेलियो का क्रिप्टो के प्रति रूझान जनवरी 2021 की शुरुआत में ही देखा गया था, जब उन्होंने कहा था कि बिटकॉइन और उसके प्रतियोगी निवेश के लिए अच्छा विकल्प बन सकता है.

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अमेरिकी अरबपति व दुनिया के टाॅप फंड मैनेजर ने कहा- मेरे पास भी Bitcoin है, इसे होल्ड रखें..सफलता मिलेगी

Ray Dalio

Ray Dalio

अमेरिकी अरबपति और दुनिया के टाॅप फंड मैनेजर रे डालियो (Ray Dalio) ने डॉलर के मुकाबले बिटकॉइन (Bitcoin) का समर्थन किया.

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    नई दिल्ली. अमेरिकी अरबपति और दुनिया के टाॅप फंड मैनेजर रे डालियो (Ray Dalio) ने डॉलर के मुकाबले बिटकॉइन (Bitcoin) का समर्थन किया. दुनिया के सबसे बड़े हेज फंड ब्रिजवाटर एसोसिएट्स के सह-मुख्य निवेश अधिकारी डालियो ने एक साक्षात्कार में कॉइनडेस्क को बताया कि उनके पास भी कुछ बिटकॉइन हैं... और उन्हें लगता है रिस्क लेना आपको सफलता दिलाएगी. इसलिए उन्होंने निवेशकों से इसे होल्ड रखने की सलाह दी है.

    जानें, क्या कहा रे डालियो ने?

    कॉइनडेस्क की वार्षिक आम सहमति सम्मेलन के दौरान, निवेशक में वर्चुअल करेंसी बिटकाॅइन को लेकर बढ़ती चिंताओं पर बात की. इस दौरान उन्होंने कहा मेरे पास भी कुछ बिटकॉइन हैं. डालियो ने कहा, वे बांड की तुलना में क्रिप्टोकरेंसी को बेहतर निवेश विकल्प के तौर पर देख रहे हैं. अरबपति ने कहा कि मुझे लगता है कि बिटकॉइन का सबसे बड़ा जोखिम ही इसकी सफलता है.

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    बता दें कि इससे पहले डालियो ने क्रिप्टोकरेंसी को लेकर संदेह व्यक्त किया था. डेलियो ने नवंबर 2020 में कहा था कि मुझे नहीं लगता कि डिजिटल करेंसी लोगों की उम्मीद के मुताबिक सफल होंगी. हालांकि, डेलियो का क्रिप्टो के प्रति रूझान जनवरी 2021 की शुरुआत में ही देखा गया था, जब उन्होंने कहा था कि बिटकॉइन और उसके प्रतियोगी निवेश के लिए अच्छा विकल्प बन सकता है.

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    बता दें कि एलन मस्क के ट्वीट और चीन द्वारा शख्त रूख अपनाने के बाद बिटकाॅइन की कीमतों में लगातार गिरावट जारी है. हालांकि, अब रेट्स में कुछ सुधार हो रहा है. Bitcoin ने 14 अप्रैल 2021 को $64,829 (करीब 48.62 लाख रुपये) का स्तर छुआ था. वहां से अब ये गिरकर 35202 डॉलर (करीब 26.40 लाख रुपये) पर आ गई है. इसका मतलब साफ है ऊपरी स्तर पर पैसा लगाने वालों को 47 फीसदी का नुकसान हुआ है.

    एलन मस्क के ट्वीट से Bitcoin में 12% की तेजी! जानें दूसरे क्रिप्टोकरेंसी की लेटेस्ट वैल्यू

    क्रिप्टोकरेंसी मार्केट (Cryptocurrency Market) में आज हल्की तेजी देखी गई. तेजी की वजह रही टेस्ला और SpaceX के फाउंडर एलॉन मस्क का एक ट्वीट.

    नई दिल्ली. क्रिप्टोकरेंसी मार्केट (Cryptocurrency Market) में आज हल्की तेजी देखी गई. तेजी की वजह रही टेस्ला और SpaceX के फाउंडर एलॉन मस्क का एक ट्वीट. मस्क ने अपने फॉलोअर्स से GitHub पर "develop Doge" करने के कुछ आइडिया मांगे थे जिसके बाद क्रिप्टोकरेंसी की कीमतों में तेजी देखी गई है. Doge का मतलब यहां क्रिप्टोकरेंसी Dogecoin से है.

    जानें क्या कहा मस्क ने?

    मस्क ने यह भी ट्वीट किया कि वह नॉर्थ अमेरिकी बिटक्वाइन माइनर्स से बात कर रहे हैं कि किस तरह डिजिटल करेंसी को मजबूत और टिकाऊ बनाया जा सकता है. मस्क ने कहा है कि वो लोग इसपर भरोसा जता रहे हैं. मस्क के इस ट्वीट के बाद Bitcoin में तेजी देखी गई और वह 40,000 डॉलर की वैल्यू पर ट्रेड करने लगा.

    पहले 64,829 डॉलर पर ट्रेड कर रहा थाBitcoin दुनिया की सबसे बड़ी और पॉपुलर क्रिप्टोकरेंसी है. 14 अप्रैल को यह अपने ऑल टाइम हाई यानी 64,829 डॉलर पर ट्रेड कर रहा था. इस गिरावट के बाद बिटक्वाइन की वैल्यू में करीब 1 लाख करोड़ डॉलर की कमी आई है. अलग-अलग देशों में क्रिप्टोकरेंसी के खिलाफ रेगुलेशन सख्त होने से भी इसे नुकसान हुआ है.हाल ही में चीन ने क्रिप्टोकरेंसी की ट्रेडिंग और इससे जुड़ी कोई भी सर्विस देने पर पाबंदी लगा दी थी जिसके बाद इसमें लगातार गिरावट देखी गई.

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    अब 12 फीसदी से ज्यादा की तेजी आई

    24 मई को Bitcoin की कीमतों में 12 फीसदी से ज्यादा की तेजी आई.रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक, Bitcoin 39,400 डॉलर पर ट्रेड कर रहा है. हालांकि यह एक दिन पहले के मुकाबले 7.5 चढ़ चुका है लेकिन अभी भी अपने रिकॉर्ड हाई से 40 फीसदी नीचे है.

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    जानें, दुनिया की सबसे पॉपुलर 10 क्रिप्टोकरेंसी की कीमतों के बारे में...

    << Bitcoin: $38,305

    << Ethereum: $2,570.39

    << Tether: $1

    << Binance Coin: $342.60

    << Cardano: $1.54

    << Dogecoin: $0.3441

    << XRP: $0.9696

    << Polkadot: $21.87

    << Internet Computer: $142.04

    नाेट - ये रेट 25 मई सुबह 8.15 के हैं.

    क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करने वालो को एक हफ्ते में 748 अरब डॉलर का नुकसान, सबसे ज्यादा बिटकॉइन 47% गिरी

    मुंबई . मार्केट सेंटिमेंट और कई तरह की नाकारात्मक खबरों की वजह से पिछले कुछ दिनों से क्रिप्टोकरेंसी की कीमतें लगातार गिर रही हैं. दुनिया की सबसे बड़ी और लोकप्रिय क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन (Bitcoin) का रेट Binance सहित सभी बड़े एक्सचेंजेज में 34,000 डॉलर से नीचे चला गया.

    मुंबई . मार्केट सेंटिमेंट और कई तरह की नाकारात्मक खबरों की वजह से पिछले कुछ दिनों से क्रिप्टोकरेंसी की कीमतें लगातार गिर रही हैं. Bitcoin, Ethereum, Dogecoin सहित दूसरी ज्यादातर क्रिप्टोकरेंसी down चल रही हैं. दुनिया की सबसे बड़ी और लोकप्रिय क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन (Bitcoin) का रेट Binance सहित सभी बड़े एक्सचेंजेज में 34,000 डॉलर से नीचे चला गया.

    बिटक्वाइन में 47 फीसदी की गिरावट

    हालाांकि बाद में इसमें कुछ सुधार आया और यह 7.17 फीसदी की गिरावट के साथ 35 हजार डॉलर के आस-पास ट्रेड कर रही थी. बिटकॉइन की कीमत 14 अप्रैल को 64,895.22 डॉलर के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई थी लेकिन उसके बाद से इसमें 47.4 फीसदी गिरावट आई है.

    यह भी पढ़ें- शेयरों में हुए घाटे का टैक्स बचाने में कैसे करें इस्तेमाल, क्या होती है टैक्स-लॉस हार्वेस्टिंग स्ट्रैटजीबिटकॉइन में गिरावट का असर दूसरी क्रिप्टोकरेंसीज पर भी दिख रहा है. दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी ईथर (Ether) की कीमत में पिछले 24 घंटे में 11.40 फीसदी गिरी है. यह करीब 2150 डॉलर पर ट्रेड कर रही थी.

    Dogecoin में 7.77 फीसदी की गिरावट

    इसी तरह Dogecoin भी 7.77 फीसदी की गिरावट के साथ 0.32 डॉलर पर थी. Ripple 13.64 फीसदी की गिरावट के साथ 0.80 डॉलर पर ट्रेड कर रही थी. इसी तरह Cardano 13.77 फीसदी की गिरावट के साथ 1.30 डॉलर पर थी.

    क्रिप्टोकरेंसीज में गिरावट से पिछले एक हफ्ते में 7,459 क्रिप्टोकरेंसीज की मार्केट वैल्यू में 33 फीसदी की गिरावट आई है. इनकी मार्केट वैल्यू करीब 748 अरब डॉलर गिरी है. CoinGecko के आंकड़ों के मुताबिक 16 मई को उनकी मार्केट वैल्यू 2.25 लाख करोड़ डॉलर थी जो अब करीब 1.50 लाख करोड़ डॉलर रह गई है. एक हफ्ते में बिटकॉइन की कीमत में 27 फीसदी की गिरावट आई जबकि Ethereum की कीमत करीब 46 फीसदी और Dogecoin की 39 फीसदी गिरी है.

    क्यों गिर रही क्रिप्टोकरेंसी

    पिछले कई दिनों से क्रिप्टो को लेकर लगातार नाकारात्मक खबरें आ रही हैं. लिहाजा मार्केट सेंटिमेंट डाउन चल रहा है. पहले टेस्ला के सीईओ एलन मस्क बिटक्वाइन में पेमेंट लेने से मुकर गए. फिर कई देशों में प्रतिबंधों का असर हुआ. फिर पिछले हफ्ते बिटक्वाइन के बड़े माइनिंग मार्केट में से एक चीन ने क्रिप्टोकरेंसी पर प्रतिबंध लगा दिया. लिहाजा इन सारी खबरों के असर से क्रिप्टोकरेंसी लगातार गिर रही हैं.

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                SOME HIGHLIGHTS ABOUT 

                              RAJASTHAN NEWS      

    मोदीराज में राजस्थान के हिस्से क्या आया?:7 साल में पहले से घोषित हमारे 2 बड़े प्रोजेक्ट बंद, बीजेपी का दावा- केंद्र ने खुले हाथ से मदद की, कांग्रेस ने कहा- पग-पग पर भेदभाव

    प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली NDA सरकार के कार्यकाल को 7 सात साल पूरे हो गए हैं। इन 7 सालों में एक बार भी ऐसा नहीं हुआ, जब राजस्थान को कोई बड़ा प्रोजेक्ट मिला हो। हालांकि, केंद्र की योजनाओं का फायदा दूसरे राज्यों की तरह मिलता रहा। इस दौरान यहां मेडिकल कॉलेज 5 से बढ़कर 30 हो गए। राजस्थान में रेल, सड़क और इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट में केंद्र ने बड़े प्रोजेक्ट्स हाथ में लेकर पूरे किए हैं। पानी के आधार पर राजस्थान को विशेष राज्य का दर्जा मिलने की मांग अब तक अधूरी है। दूसरी तरह, UPA सरकार में घोषित दो बड़े प्रोजेक्ट NDA सरकार में बंद हो गए।

    उधर, मोदी राज के सात साल को लेकर बीजेपी और कांग्रेस के अपने अपने दावे हैं। बीजेपी ने सात साल में राजस्थान के विकास में केंद्र से खुले हाथ से मदद मिलने का दावा किया है। कांग्रेस ने राज्य का विकास रोकने और भेदभाव के आरोप लगाए हैं।

    मेमू कोच फैक्ट्री, रतलाम-डूंगरपुर रेल लाइन प्रोजेक्ट बंद ,ईआरसीपी का वादा भी अधूरा
    यूपीए राज में भीलवाड़ा में मेमू कोच फैक्ट्री को घोषणा के सात साल बाद केंद्र सरकार ने बंद करने की घोषणा कर दी। पाली सासंद के सवाल के जवाब में इसी साल रेल मंत्री पीयूष गोयल ने भीलवाड़ा में मेमू कोच फैक्ट्री बंद करने की बात कही थी। केंद्र ने आधिकारिक तौर से इस प्रोजेक्ट से हाथ खींच लिए जबकि 2013 में इसकरा शिलान्यास हो चुका था। इसी तरह डूंगरपुर-रतलाम रेल प्रोजेक्ट भी केंद्र ने ठंडे बस्ते में डाल दिया है। चुनाव के वक्त ईस्टर्न राजस्थान कैनाल प्रोजेक्ट को राष्ट्रीय परियोजना घोषित करने का वादा किया था, यह वादा भी अब तक अधूरा है।

    पानी की मांग पर राजस्थान को विशेष पैकेज की मांग जस की तस
    पानी की कमी के आधार पर राजस्थान को विशेष दर्जे देकर स्पेशन केंद्रीय पैकेज की मांग लंबे समय से चलती आ रही है। इस मांग पर सात साल में कुछ नहीं हुआ, हालांकि यह मांग चार दशक से चली आ रही है। पहले कांग्रेस सरकारों के वक्त भी यह मांग पूरी नहीं हुई।

    नया फंडिंग पैटर्न लागू होने से भी राजस्थान को नुकसान
    एनडीए सरकार ने केंद्रीय योजनाओं के लिए लागू किए नए फंडिंग पैटर्न से भी राजस्थान को नुकसान हुआ है। केंद्रीय योजनाओं में राज्य को अब 20 से 30 प्रतिशत ज्यादा हिस्सा राशि देनी पड़ रही है, मैचिंग ग्रांट के तौर पर ज्यादा पैसा देना पड़ रहा है। हालंाकि यह भार हर राज्य पर पड़ा है।

    सात साल में 5 से 30 हुए मेडिकल कॉलेज, रेल, सड़क और इंफ्रास्ट्रक्चर में बड़ा काम

    भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया का कहना है- सात साल पहले प्रदेश में 5 मेडिकल कॉलेज थे और आज 30 से ज्यादा हैं, यह केंद्र की ही देन है। पीएम किसान सम्मान निधि से प्रदेश के 66 लाख किसानों को 7367 करोड़ मिला है। रेल्वे में राजस्थान में बड़ा काम हुआ है। राजस्थान में 22,259 करोड़ रेल्वे के लिए मिले हैं, जिनसे रेलवे लाइनों के इलेक्ट्रिफिकेशन, डबल रेलवे लाइन सहित रेल इफ्रास्ट्रक्चर में काम हुआ है। स्वर्णिम चतुर्भुज, भारतमाला प्रोजेक्ट, एनएचएआई से 15 हजार करोड़ से ज्यादा मिले हैं और 67, 245 किलोमीटर सड़कें बनी हैं। सात साल में 9 लाख पीएम आवास योजना के घर बने, उज्ज्वला योजना में 63 लाख एलपीजी गैस सिलेंडर कनेक्शन दिए गए।

    ‘सात साल में हर कदम पर राजस्थान के साथ भेदभाव हुआ’
    कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा, ‘मोदी राज के 7 सालन राजस्थान पर भारी पड़े हैं। राजस्थन के साथ पग पग पर भेदभाव हुआ है। प्रदेश की जनता ने दोनों बार 25—25 सासंद जितवाकर भेजे, लेकिन किोई भी राजस्थान के लिए नई योजना लेकर नहीं आ सका। नई योजना तो छोड़िए केंद्र सरकार राजस्थान के हिस्से का पैसा ही समय पर नहीं दे रहा। जीएसटी और केंद्रीय करों में हिस्सा राशि का पैसा अटका रखा है। यूपीए राज की योजनाओं को बंद कर दिया। हर घर नल योजना में केंद्र पूरा पैसा नहीं दे रहा, पहले से चल रही केंद्रीय योजनाओं की हिस्सा राशि कम करने से राजस्थान को बड़ा नुकसान हुआ है। कोरोना की दूसरी लहर में राजस्थान को केंद्र ने अपने हाल पर छोड़ दिया’

    ‘70 साल की कमी 7 साल में पूरी नहीं हो सकती’
    भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया ने कहा, ‘70 साल में जो कमियां रही हैं उन्हें 7 साल में दूर नहीं किया जा सकता। केंद्र सरकार ने राजस्थान के विकास में बिना पक्षपात किए मदद की है। कांग्रेस अपनी नाकामियां छिपाने के लिए केंद्र पर दोषारोपण कर रही है।’

    PHOTO में देखें, ये छप्पन भोग पशुओं के लिए है:युवाओं ने जेब खर्च तो दिव्यांग ने 2 माह की पेंशन दी, मिठाइयों की जगह 56 तरह के फल-सब्जियों का चढ़ाया भोग, फिर गांव के हर पशु को खिलाया


    अब तक आपने मंदिरों में छप्पन भोग देखे होंगे। बीकानेर के नापासर में सजा छप्पन भोग जरा हटकर था। मकसद भी अलग। लॉकडाउन में भूखे पशुओं की परेशानी को देखते हुए छप्पन भोग का इंतजाम किया गया। यहां के युवाओं ने जेब खर्च दिए तो किसी दिव्यांग ने अपनी 2 महीने की पेंशन राशि दे दी। एक-एक कर अच्छी-खासी राशि इकट्‌ठी हुई। इसके बाद पशुओं के लिए छप्पन भोग का इंतजाम हुआ। इस छप्पन भोग में मिठाइयों के लिए कोई जगह नहीं थी। पशुओं को ध्यान में रखकर छप्पन भोग तैयार हुआ। इसमें छप्पन तरह की सब्जियां और फल थे। शनिवार से रविवार तक यह छप्पन भाेग कस्बे में हर पशु तक पहुंचाने का प्रयास किया गया।
    इस छप्पन भोग में सभी तरह के फलों को पहले सलीके से काटा गया। फिर सजाया गया।

    छप्पन भोग में हरी सब्जियां, फल, गुड़, खल, चूरी को मिलाया गया। तरबूज, केले, पपीते, मतीरा, चीकू, सेव, अनार भी शामिल था। इसके अलावा सब्जी में पालक, टमाटर, भिंडी, ककड़ी, खीरा सहित तरह तरह की सब्जियां मिलाई गईं। इनको बकायदा एक जगह छप्पन भोग की तरह सजाया गया। बाद में पूरे कस्बे में और आसपास के गांवों में पशुओं के बीच वितरित किया गया।

    गांव के युवाओं की टीम ने बहुत ही शिद्दत से इन फलों काे प्रसाद के रूप् में तैयार किया।

    लॉकडाउन में यही सेवा

    लंबे समय से चल रहे लॉकडाउन के कारण पशुओं को चारा उपलब्ध कराने वाले इन दिनों घरों में हैं। ऐसे में पशुओं को भूखे देख गांव के कुछ युवाओं ने ही छप्पन भोग करने की सोची। पिछले एक महीने से किसी न किसी तरह पशुओं के लिए कुछ न कुछ प्रबंध किया जा रहा है। कभी पानी पिलाकर तो कभी चारा डालकर। इसी बीच पशुओं के लिए छप्पन भोग करने का मन बन गया। इस काम में एक-दो नहीं, बल्कि दर्जनभर युवाओं ने जोश के साथ काम किया।

    एक ऊंट गाड़ी में इसे सजाया, फिर पशुओं तक पहुंचाया।

    दिव्यांग ने दी दो महीने की पेंशन

    इस नेक काम में दिव्यांग जयकिशन ने तो दो महीने की पेंशन भी समर्पित कर दी। उनका मानना है कि इस विकट दौर में न तो पशुओं को चारा मिल रहा है और न पानी। यहां तक कि दुधारु पशुओं के लिए भी चारा मुश्किल है। ऐसे में आवारा घूम रहे पशुओं की भूख मिटानी ही सबसे बड़ा धर्म है।

    छप्पन भाेग को एकत्र करने के लिए फावड़े का उपयोग करना पड़ा।

    टीम में ये रहे शामिल

    अजय आसोपा, नवरतन आसोपा, रविकांत आसोपा, दिव्यांग जयकिशन आसोपा, खुशबू आसोपा, जगदीश तंवर, विकास माली,मनोज आसोपा, अनुज आसोपा, सीताराम आसोपा, निरंजन आसोपा,विजय कुमार राठी, शुभम।

    पशुओं ने भी बड़े चाव से छप्पन भोग ग्रहण किया।

    पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों पर CM ने PM को घेरा:​​​​​​​गहलोत बोले- कोविड और आमदनी कम होने से परेशान है जनता, ऊपर से पेट्रोलियम पदार्थ की कीमत बढ़ाकर मुश्किलें खड़ी कर रही मोदी सरकार

    पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों को लेकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने केंद्र सरकार और पीएम नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा है। सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत कम होने के बावजूद पेट्रोल-डीजल की कीमत लगातार बढ़ रही है। कई राज्यों में पेट्रोल के दाम 100 रुपए लीटर से अधिक हो गए हैं। आम आदमी कोविड और आमदनी कम होने से परेशान है। इसके बाद मोदी सरकार महंगाई से मुश्किलें खड़ी कर रही है।

    केंद्र सरकार की एक तिहाई कमाई

    गहलोत ने कहा- केंद्र सरकार पेट्रोल-डीजल पर एक्साइज ड्यूटी को लगातार कम कर रही है, जिसमें राज्यों को हिस्सा मिलता था। स्पेशल एक्साइज ड्यूटी और एडिशनल एक्साइज ड्यूटी लगाकर अपनी जेब भर रही है। केंद्र सरकार की एक तिहाई कमाई पेट्रोल-डीजल के टैक्स से ही हो रही है।

    राहत देनी चाहिए
    गहलोत ने कहा- जब केंद्र सरकार को पेट्रोल-डीजल पर टैक्स कम कर आम आदमी को राहत देनी चाहिए थी, तब इस साल के बजट में इन पर एक नया टैक्स लगा दिया। इससे ट्रांसपोर्टेशन चार्ज बढ़ गए हैं। इससे सभी चीजों पर महंगाई बढ़ रही है। आम आदमी मोदी सरकार द्वारा बुने गए इस महंगाई के जाल से बुरी तरह तंग आ चुका है।

    सोशल मीडिया पर अभियान

    पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों के खिलाफ कांग्रेस ने सोशल मीडिया पर अभियान छेड़ रखा है। यह अलग बात है कि बीजेपी राजस्थान सरकार से पेट्रोल-डीजल पर वैट कम करने की मांग उठाती रही है। राजस्थान के सभी जिलों में पेट्रोल 100 रुपए प्रति लीटर से पार जा चुका है। कीमतों को लेकर राज्य सरकार हमेशा केंद्र से टैक्स कम करने की मांग करती रही है।

    सख्त लॉकडाउन में 378 जगहों पर नाकाबंदी:जयपुर में 24 घंटे में 3825 लोगों से वसूला 5 लाख 28 हजार का जुर्माना, जब्त वाहनों से थानों में नहीं बची जगह

    जयपुर में लॉकडाउन के दौरान कार्रवाई करती पुलिस।

    राजस्थान सरकार ने 8 जून तक सख्त लॉकडाउन लगा रखा है। सुबह 11 बजे तक किराना, दूध व फल-सब्जियों की दुकानों को छूट दी गई है। इसके बावजूद लोग बिना कारण सड़कों पर घूम रहे है। नाकाबंदी पर पुलिस के रोकने पर बहाने बना रहे है। कोई टीका लगवाने तो कोई अस्पताल में बीमार को देखने जाने का बहाना बना रहा है। पाइंट पर पुलिसकर्मियों के आगे जाने के लिए हाथ जोड़ रहा है तो कोई फोन पर बात करवा रहा है।

    जयपुर पुलिस ने सख्त लॉकडाउन की पालना कराने के लिए 378 पाइंट पर नाकाबंदी कर रखी है। बिना वजह बाहर निकलने वाले लोगों के चालान किए जा रहे है। वाहनों को जब्त किया जा रहा है, कई थानों में तो वाहनों को खड़ा करने की भी जगह नहीं रह गई है। ट्रेफिक पुलिस वाहनों को जब्त कर गाडी से उठाकर ले जाते है। पिछले 24 घंटों में जयपुर में पुलिस ने 3825 कार्रवाई की है, जिनसे 5 लाख 28 हजार का जुर्माना वसूला गया है।

    गोपालपुरा मोड़ पर ट्रेफिक पुलिस कार्रवाई करती हुई।

    वाहनों को जब्त कर रहे ट्रेफिक पुलिस

    बिना वजह घूम रहे वाहन चालकों से पूछताछ के बाद वाहनों को जब्त किया जा रहा है।जप्त वाहनों से ऐसे हालात हो गए है कि थानों में भी वाहनों को खड़ी करने के लिए जगह नहीं बची है। सभी थानों की पुलिस और ट्रेफिक पुलिस कार्रवाई कर रही है। पिछले 24 घंटे में 17 वाहनों को जब्त कर 94 वाहनों के चालान किए है।

    सामाजिक दूरी, मास्क नहीं लगाने पर भी जुर्माना वसूला
    जयपुर में पुलिस ने 102 लोगों से मास्क नहीं पहनने पर एक लाख दो हजार, 35 दुकानदारों से बिना मास्क लोगों को सामान देने पर 17 हजार 500 रुपए, सार्वजनिक स्थानों पर थूकने 399 लोगों से 79 हजार 800 रुपए, 6 फीट की दूरी नहीं रखने पर 3289 लोगों से 3 लाख 28 हजार रुपए जुर्माना वसूला गया है।

    24 घंटे में पुलिस ने की कार्रवाई

    क्र.सं.क्षेत्रजब्त वाहनचालानअन्यथूकनेबिना मास्कशराब पीनादुकानदार के चालानसोशल डिस्टेंसकुल कार्रवाईजुर्माना
    1.जयपुर पूर्व13216650318101918200700
    2.जयपुर पश्चिम02013120018545716109700
    3.जयपुर उत्तर1356475160061778192700
    4.जयपुर दक्षिण34012660014314521123600
    5.यातायात0001100351500
    6.कुल1794539910203532893941528200


    PM मोदी ने डॉ. पानगड़िया का हेल्थ बुलेटिन पूछा:इटर्नल हॉस्पिटल की को-चेयरपर्सन से फोन पर की बात; विदेशों से दवाइयां मंगवाकर एक्सपर्ट डॉक्टर्स की टीम कर रही है इलाज

                                                     डॉ. पानगड़िया पूर्व राष्ट्रपति के साथ। फाइल फोटो

    प्रसिद्ध न्यूरोलॉजिस्ट डॉ. अशोक पानगड़िया की तबीयत के बारे में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जानकारी ली। मोदी ने इटर्नल हॉस्पिटल की को-चेयरपर्सन मंजू शर्मा से फोन पर बात की और डॉ. पानगड़िया की तबीयत के संबंध में पूछा। वहीं डॉक्टरों ने पानगड़िया की हालत को अभी स्थिर बताया है। हालांकि ये उम्मीद जताई जा रही है कि वे धीरे-धीरे रिकवर होने लगेंगे। रविवार सुबह परिवार के लोगों ने बताया कि अभी हालत वैसी ही है।

    इससे पहले गुरुवार देर रात से सोशल मीडिया पर डॉ. पानगड़िया के देहांत की खबरें तेजी से वायरल हो रही थी। राज्य के कुछ नेताओं के सोशल मीडिया एकाउंट से तो पानगड़िया के देहांत का शोक भी व्यक्त कर दिया था, हालांकि बाद में ऐसी पोस्ट को हटा दिया गया था। इसके बाद अस्पताल प्रबंधन ने सोशल मीडिया पर चली गलत खबरों का खंडन करते हुए उनका हेल्थ बुलेटिन जारी किया।

    इसमें बताया कि उनका उपचार कर रही डॉक्टर्स की टीम का कहना है कि डॉ. पानगड़िया की लगातार देखरेख की जा रही है और उन्हें देश-विदेश से भी कुछ एंटीबायोटिक्स मंगवाकर दी जा रही हैं। उनकी स्थिति नियंत्रण में है। उनका ट्रीटमेंट सीनियर क्रिटिकल केयर एक्सपर्ट डॉ. किशोर मंगल, सीनियर नेफ्रोलॉजिस्ट डॉ. एके शर्मा, चेयरमैन मेडिसिन एंड रिसर्च डॉ. राजीव गुप्ता, सीनियर इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. जितेंद्र मक्कड़ और सीनियर एंडोक्राइनोलॉजिस्ट डॉ. शैलेष लोढ़ा की देख-रेख में चल रहा है।

    आपको बता दें डॉ. पानगड़िया को कोरोना से ठीक होने के बाद पोस्ट कोविड तकलीफ के चलते RUHS से जयपुर के EHCC अस्पताल में शिफ्ट किया था। संक्रमण के कारण उनके लंग्स (फेंफड़े) ज्यादा डेमेज हो गए थे, जिसके कारण उनकी स्थिति बिगड़ गई थी, जिसके बाद उन्हें इसी सप्ताह उपचार के लिए वेंटिलेटर पर शिफ्ट किया है।

    टोंक में कोरोना को लेकर राहत:जिले में अब तक के सबसे कम 20 नए केस आए सामने, रिकवर हुए 98, एक्टिव केस भी दो सौ से आए नीचे


    लॉकडाउन में गश्त करती पुलिस।

    जिले में कोरोना को लेकर बड़ी राहत वाली खबर सामने आई है। कोरोना पॉजिटिव केस की संख्या निरंतर तेजी से कम हो रही है। वर्तमान में 198 एक्टिव केस ही मौजूद है। जबकि मई के पहले पखवाड़े तक संख्या 18 सौ तक थी।

    रविवार को जिले में अप्रैल के पहले सप्ताह के बाद सबसे कम 20 पाजीटिव केस सामने आए हैं। रविवार को टोडारायसिंह में 1, देवली में 4, निवाई 2, टोंक ग्रामीण 4, टोंक शहर 7 एवं मालपुरा में 2 पॉजिटिव केस सामने आए हैं जबकि उनियारा में रविवार को एक भी केस सामने नहीं आया।

    कोरोना के गिरते ग्राफ को देखते हुए जून के पहले पखवाड़े में जिला कोरोना मुक्त हो सकता है लेकिन इसके लिए सावधानी बरते जाने की बेहद जरुरत है। रविवार काे जहां 20 पॉजिटिव केस सामने आए, वहीं रिकवर होने वालों की संख्या 98 रही। इसमें 91 मरीज होम आइसोलेशन में ठीक हुए। अब तक 9548 मरीजों में से 9269 मरीज रिकवर हो चुके हैं। रविवार को 249 सैंपल लिए गए। जिनकी जांच आना अभी बाकी है।

    तीन हजार पर हो गए पॉजिटिव केस: जिले में अब तक मई माह में 3067 पॉजिटिव केस सामने आ चुके हैं। गत वर्ष 3728 पॉजिटिव केस सामने आए थे। इस वर्ष अब तक 5820 पॉजिटिव केस मिल चुके हैं।

    राजस्थान में वैक्सीनेशन खर्च के लिए सैलरी कट:IAS, IPS व IFS अफसरों के तीन दिन और राज्य सेवा के अधिकारियों के दो दिन की वेतन राशि काटेगी गहलोत सरकार

    कोरोना महामारी के प्रकोप और वायरस से बचाव के लिए 18 से 45 वर्ष की उम्र के लोगों को लगने वाली वैक्सीन का खर्च राजस्थान सरकार उठा रही है। इससे सरकार के बजट का पूरा गणित गड़बड़ा गया है। पहले से ही रेवेन्यू की कमी से जूझ रही सरकार ने कोरोना की दूसरी लहर के बाद हेल्थ व मेडिकल सेक्टर पर खर्च बढ़ा दिया है। इसमें अकेले नि:शुल्क वैक्सीनेशन के लिए ही 2300 करोड़ रुपए से ज्यादा का व्यय भार सरकार पर आएगा। इसके लिए सरकार ने बजट की रिस्ट्रक्चरिंग भी शुरू कर दी है। अब अधिकारियों के वेतन से भी कटौती का निर्णय लिया गया है।

    वेतन कटौती के आदेश

    राज्य सरकार ने प्रदेश के IAS, IPS और IFS के 3 दिन और राजस्थान प्रशासनिक सेवा, राजस्थान लेखा सेवा, राजस्थान पुलिस सेवा, राजस्थान वन सेवा, राजस्थान वाणिज्यिक कर सेवा के अधिकारियों का दो दिन का वेतन कटौती करने का निर्णय लिया है। इस संबंध में रविवार को वित्त विभाग ने एक आदेश जारी करते हुए सभी जिला कलेक्टरों को निर्देश दिए हैं। इसके लिए इन सभी 8 सेवाओं के अफसरों के मई माह, 2021 के वेतन से निर्धारित कटौती कर मुख्यमंत्री सहायता कोष में जमा करवाया जाएगा। आदेशों में कहा गया है कि किसी कारण से मई 2021 के वेतन से कटौती नहीं हो पाती है तो आगामी माह जून में यह वेतन कटौती की जाएगी।

    सीएम ने कहा था, हमें अपना बजट डिस्टर्ब करना पड़ेगा

    बजट में कटौती को लेकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पिछले सप्ताह सार्वजनिक बयान दे चुके हैं। गहलोत ने कहा था कि केंद्र सरकार ने 18 साल से ऊपर वालों के वैक्सीनेशन का खर्च राज्यों पर डालने के बारे में पहले नहीं बताया। हमारा बजट पास हो चुका है। अब वैक्सीनेशन का भार आने से हमें हमारा बजट डिस्टर्ब करना होगा।

    1 मई से लग रही युवाओं को वैक्सीन

    सीएम अशोक गहलोत कह चुके हैं कि वैक्सीनेशन के खर्च का जुगाड़ करने के लिए डिस्ट्रिक्ट मिनरल फंड ट्रस्ट डीएमएफटी के 2700 करोड़ रुपए में से रकम ली जाएगी। विधायक फंड से 600 करोड़ रुपए वैक्सीनेशन के लिए डायवर्ट किए जाएंगे। आपको बता दें कि राजस्थान में 18 से 45 साल की Age ग्रुप की आबादी करीब 2 क​रोड़ 90 लाख है। यहां 1 मई से इस उम्र के लोगों को नि:शुल्क वैक्सीन लगाना शुरू किया गया था।

    फ्लैगशिप योजनाओं को छोड़ ज्यादातर के बजट में कटौती के आसार

    वित्त विभाग हर उन योजनाओं और कार्यक्रम का ब्यौरा जुटा रहा है, जिनके बजट में कटौती होनी है। सरकार की फ्लैगशिप स्कीम को छोड़ सभी योजना और कार्यक्रम के बजट में 30 फीसदी तक कटौती की तैयारी है। केंद्र सरकार ने भी कई योजनाओं में बजट रिस्ट्रक्चर के नाम पर राज्यों को दिए जाने वाले फंड में कमी की है। उसका असर राजस्थान में भी दिखेगा।

    खौफ ऐसा कि लोग मास्क नहीं पूरा चेहरा ढक रहे:टोंक के आवां में नहीं थम रहा मौतों का सिलसिला, 12 घंटे में ही फिर दो की मौत; डेढ़ माह में ही 35 की जा चुकी है जान

    आवां। कोरोना के डर से पूरा चेहरा ढके एक व्यक्ति।
    • * खौफ ऐसा कि कई लोग तो मास्क नहीं पूरा चेहरा ढक रहे
    • कोरोना को लेकर जिले में भले ही आंकड़े कुछ दिनों से राहत भरे आ रहे हों, लेकिन आवां कस्बे में आए दिन हो रहीं मौतों ने लोगों को झकझोर कर रख दिया है। हालत ऐसे हैं कि औसतन हर 3 दिन में दो लोगों की मौत हो रही है। इससे लोगों में दहशत सा माहौल है।

      यहां तो पुलिस की कार्रवाई का के खौफ की भी जरूरत नहीं है। लोग वैसे ही घरों से नहीं निकल रहे तो कई कोरोना से इतने खोफजदा हैं कि बाहर जाने से पहले कपड़े से पूरा मुंह ढक कर जा रहे हैं। देखने के लिए मात्र एक आंख के सामने वाले हिस्से में कपड़े में छेद कर बाहर निकल रहे हैं।

      डेढ़ माह में ही 335 लोगों की हो चकी है मौत

      जिले में करीब 2 माह से कोरोना का काफी प्रकोप है। अब करीब एक सप्ताह से कोरोना जिले के अधिकांश हिस्सों में ढलान पर है, लेकिन आवां कस्बे की हालत अभी भी मौतों के मामले को लेकर चिंताजनक बनी हुई है। यहां डेढ़ माह में ही करीब 35 लोगों की मौत हो चुकी है। इसमें से कोरोना पॉजिटिव से मौत करीब 15 लोगों की सामने आई है। इसके अलावा कुछ लोगों की मौत कोरोना संदिग्ध के रूप में सामने आई है तो कुछ लोगों की मौत वायरल फीवर से हुई।

      वहीं कुछ लोगों की हार्ट अटैक से भी मौत होना सामने आ रही है। बहरहाल आवां में मौत किस कारण से लोगों की हो रही है यह अलग बात है, लेकिन जिस तरह से आए दिन मौतों का सिलसिला बना हुआ है उससे लोग खौफजदा हैं। आलम यह है कि अब लोग जरूरी काम को छोड़कर घरों से निकल नहीं रहे हैं। बीते 12 घंटे में ही दो लोगों की मौत हो गई है। इससे लोगों में और अधिक भय का माहौल बन गया है।

      12 घंटे में इनकी हुई मौत

      आवा कस्बे में शनिवार रात 65 वर्षीय अमोलक सोनी की अचानक मौत हो गई। वहीं सुबह 10 बजे आवा के ही भंवर लाल बलाई (63) की मौत हो गई। इससे पहले शनिवार शाम को राजेश चंदेल पुत्र स्वर्गीय बंशीलाल खटीक की जयपुर में इलाज के दौरान कोरोना से मौत हो गई।

    • अमोलक सोनी, फाइल फोटो



















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